Sunday, March 25, 2012

beshak hmme dikhwe

बेशक अब हमारी दिखावे की प्रवृति बढ़ती जा रही है,
सास भूख से मरे बहू माता रानी  को भोग लगा रही है.
बेटा माँ बाप का हलचल पूछने कभी भी घर न जाता है,
मगर हर साल तीर्थ नहाता माँ का जगराता करवाता है.
फिर ये कहते माता रानी मनोकामना पूरी नही करती,
मनोकामना तो तभी पूरी हो पायेगी,
जब माता पिता खुश होगे फिर तो माँ खुद घर आ जाएगी...................."रैना"

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