अन्ना के अनशन में भीड़ कम पहुंची,
कुछ लोगों का तर्क है,
वैसे उन लोगों की सोच का बेडा गर्क है.
कहते है अन्ना अकेला है,
अरे वहां तो लगा हुआ मेला है.
वैसे जंगल में शेर अकेला ही होता है.
बूढ़े शेर ने अपना पूरा दमखम दिखा रखा है,
नेताओ को आगे आगे लगा रखा है.
बेशक अन्ना जी का त्याग जरुर रंग लायेगा,
एक दिन शसक्त जनलोकपाल बन कर सामने आयेगा"रैना".
कुछ लोगों का तर्क है,
वैसे उन लोगों की सोच का बेडा गर्क है.
कहते है अन्ना अकेला है,
अरे वहां तो लगा हुआ मेला है.
वैसे जंगल में शेर अकेला ही होता है.
बूढ़े शेर ने अपना पूरा दमखम दिखा रखा है,
नेताओ को आगे आगे लगा रखा है.
बेशक अन्ना जी का त्याग जरुर रंग लायेगा,
एक दिन शसक्त जनलोकपाल बन कर सामने आयेगा"रैना".
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